यह घटना ईवाई कर्मचारी अन्ना सेबेस्टियन की हृदयाघात से हुई मौत पर मचे हंगामे के बीच हुई है। ईवाई इंडिया की चेयरपर्सन को लिखे पत्र में अन्ना की मां ने उनके “अत्यधिक कार्यभार” का विवरण दिया है।
पुलिस ने बताया कि मंगलवार को लखनऊ में एचडीएफसी बैंक की 45 वर्षीय कर्मचारी की अपने कार्यालय में कुर्सी से गिरकर संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई। अर्न्स्ट एंड यंग की कर्मचारी अन्ना सेबेस्टियन की कथित तौर पर काम के दबाव के कारण हुई मौत पर हंगामा जारी है। सदफ फातिमा बैंक में अतिरिक्त उप-उपाध्यक्ष के पद पर कार्यरत थीं। घटना को “चिंताजनक” बताते हुए समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव ने कहा कि “ऐसी खबरें देश में आर्थिक दबाव का संकेत हैं।”
सदफ के सहकर्मियों का आरोप है कि वह काम के दबाव में थी। विभूतिखंड एसीपी राधारमण सिंह ने कहा, “पोस्टमार्टम के बाद मौत की वजह साफ हो जाएगी।”
Lucknow, UP | Additional Deputy VP of HDFC Bank in Vibhutikhand, Sadaf Fatima (45), dies under suspicious circumstances while working. The Panchnama of her body has been filled, and it has been sent for postmortem. The cause of death will be clear after the postmortem:…
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) September 25, 2024
अखिलेश ने सभी कंपनियों और सरकारी विभागों से इस संबंध में “गंभीरता से सोचने” को कहा। अखिलेश ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा, “यह देश के मानव संसाधन की अपूरणीय क्षति है।”
लखनऊ में काम के दबाव और तनाव के कारण एचडीएफ़सी की एक महिलाकर्मी की ऑफिस में ही, कुर्सी से गिरकर, मृत्यु का समाचार बेहद चिंतनीय है।
ऐसे समाचार देश में वर्तमान अर्थव्यवस्था के दबाव के प्रतीक हैं। इस संदर्भ में सभी कंपनियों और सरकारी विभागों तक को गंभीरता से सोचना होगा। ये देश के… pic.twitter.com/Xj49E01MSs
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) September 24, 2024
उन्होंने कहा, “ऐसी अचानक मौतें कार्य स्थितियों पर सवाल उठाती हैं। किसी भी देश की प्रगति का वास्तविक मापदंड सेवाओं या उत्पादों के आंकड़ों में वृद्धि नहीं है, बल्कि यह है कि कोई व्यक्ति मानसिक रूप से कितना स्वतंत्र, स्वस्थ और खुश है।”
अन्ना सेबेस्टियन की मौत ने कार्य संस्कृति के बारे में बहस छेड़ दी है। EY इंडिया की चेयरपर्सन को लिखे पत्र में अन्ना की मां अनीता ऑगस्टीन ने उनके “भारी कार्यभार” का ब्यौरा दिया और कहा कि अन्ना “सप्ताहांत पर भी देर रात तक काम करती थीं। हाल ही में, एक सॉफ्टवेयर इंजीनियर ने काम के दबाव के कारण कथित तौर पर बिजली का झटका देकर खुदकुशी कर ली।
सपा नेता ने आर्थिक नीतियों को लेकर भाजपा सरकार पर हमला किया और कहा कि कंपनियों का कारोबार इतना कम हो गया है कि वे अपना कारोबार बचाने के लिए कम लोगों से कई गुना अधिक काम करवा रही हैं।
उन्होंने कहा, “ऐसी अचानक मौतों के लिए भाजपा सरकार उतनी ही जिम्मेदार है, जितनी भाजपा नेताओं के बयान जो जनता को मानसिक रूप से हतोत्साहित करते हैं।” उन्होंने कहा, “इस समस्या से निपटने के लिए कंपनियों और सरकारी विभागों को ‘तत्काल सुधार’ के लिए सक्रिय और सार्थक प्रयास करने चाहिए।”