पहली बार सबसे ज़्यादा वोट देने वालों से लेकर सबसे बड़े जीत के अंतर तक – 2024 के लोकसभा चुनाव में बनने वाले रिकॉर्ड्स की सूची

पहली बार सबसे ज़्यादा वोट देने वालों से लेकर सबसे बड़े जीत के अंतर तक - 2024 के लोकसभा चुनाव में बनने वाले रिकॉर्ड्स की सूची

लोकसभा चुनाव 2024: आइए एक नजर डालते हैं इन चुनावों के दौरान भारत द्वारा बनाए गए रिकॉर्डों पर। लोकसभा चुनाव 2024: लोकसभा चुनाव 2024 में करीब 64.2 करोड़ लोग मतदान करेंगे, जो दुनिया के किसी भी देश में अब तक का सबसे अधिक मतदान है।

लोकसभा चुनाव 2024: लोकसभा चुनाव परिणाम 2024 के लिए वोटों की गिनती अब पूरी हो चुकी है और अगले पांच साल के लिए एनडीए की सरकार बनने की संभावना है। विपक्ष ने इस बार भाजपा और एनडीए को कड़ी टक्कर दी। इस चुनाव में NOTA ने भी अहम भूमिका निभाई। मध्य प्रदेश के इंदौर ने कांग्रेस की अपील पर ‘इनमें से कोई नहीं’ (NOTA) विकल्प को दिए गए सबसे ज़्यादा वोटों का रिकॉर्ड तोड़ दिया। इंदौर ने बिहार के गोपालगंज निर्वाचन क्षेत्र का सबसे ज़्यादा NOTA वोट पाने का रिकॉर्ड तोड़ दिया।

भारत ने सबसे अधिक मतदान करके इतिहास रचा

इस बार सिर्फ़ नोटा ही नहीं बल्कि कुल मतदान ने भी रिकॉर्ड बनाया है। चुनाव आयोग ने पहले प्रेस कॉन्फ्रेंस कर चुनावों के सफल संचालन के ट्रैक रिकॉर्ड के बारे में बात की। बिजनेस स्टैंडर्ड की रिपोर्ट के मुताबिक, 2024 के लोकसभा चुनाव में करीब 64.2 करोड़ लोगों ने वोट डाला, जो दुनिया के किसी भी देश में अब तक का सबसे ज़्यादा मतदान है। इसमें 31 करोड़ महिलाएँ और 33 करोड़ पुरुष मतदाता शामिल थे।

सीईसी राजीव कुमार ने इस बारे में बात करते हुए कहा, “हमने 642 मिलियन मतदाताओं का विश्व रिकॉर्ड बनाया है। यह सभी जी 7 देशों के मतदाताओं का 1.5 गुना और यूरोपीय संघ के 27 देशों के मतदाताओं का 2.5 गुना है।”

दिल्ली में पहली बार वोट देने वालों की संख्या बढ़कर 2.43 लाख हुई

मुख्य निर्वाचन अधिकारी कार्यालय ने बताया कि राष्ट्रीय राजधानी में पहली बार वोट देने वालों की संख्या बढ़कर 2.43 लाख हो गई है। समाचार एजेंसी पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार, 22 जनवरी को प्रकाशित अंतिम मतदाता सूची में पहली बार वोट देने वालों की संख्या में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है और यह 1.47 लाख हो गई है। 

दिल्ली चुनाव आयोग ने कहा, “नवीनतम आंकड़ों से पता चलता है कि मतदाता सूची में पहली बार शामिल होने वाले मतदाताओं की संख्या 1,47,074 (1.47 लाख) से बढ़कर लगभग 2.43 लाख हो गई है। सीईओ (मुख्य निर्वाचन अधिकारी) ने उम्मीद जताई कि पूरक मतदाता सूची के प्रकाशन के बाद अंतिम आंकड़ा लगभग 2.50 लाख तक बढ़ जाएगा।”

इसमें कहा गया है, “यह उपलब्धि युवा जनसांख्यिकी को लक्षित करते हुए मतदाता जागरूकता अभियानों के प्रभावी कार्यान्वयन का प्रमाण है।”

सबसे बड़ा विजय अंतर

एनडीटीवी के अनुसार, लोकसभा चुनाव में कम से कम चार भाजपा नेताओं ने सबसे ज़्यादा अंतर से जीत दर्ज की है। मध्य प्रदेश के इंदौर से शंकर लालवानी 11.72 लाख से ज़्यादा वोटों के अंतर से जीते। इसके बाद केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और गुजरात भाजपा के नेता सीआर पाटिल का नंबर आता है। ये सभी अपने-अपने निर्वाचन क्षेत्रों से सात-सात लाख से ज़्यादा वोटों से आगे चल रहे हैं।

चुनाव के दौरान सबसे अधिक नकदी जब्ती

इकोनॉमिक टाइम्स की एक रिपोर्ट के अनुसार, भारत के मुख्य चुनाव आयुक्त (सीईसी) राजीव कुमार ने सोमवार को कहा कि चुनाव आयोग (ईसी) ने रिकॉर्ड 10,000 करोड़ रुपये जब्त किए हैं। इससे चुनाव के दौरान वोट खरीदने और भ्रष्टाचार के सदियों पुराने मुद्दे पर रोक लगी है। कुमार के अनुसार, 2019 में यह संख्या 3,477 करोड़ रुपये थी।

सीईसी ने पिछले दो सालों में चुनाव आयोग के प्रयासों की सराहना की, जिससे मुफ़्त चीज़ें बांटने की प्रथा को रोकने में मदद मिली है। ईटी ने उन्हें यह कहते हुए उद्धृत किया, “आपने पहले भी शराब, धोती और साड़ियों जैसी मुफ़्त चीज़ें बांटते हुए देखा होगा, लेकिन इस बार हमारे पास ऐसी कोई बड़ी घटना नहीं है।”

उन्होंने कहा कि दक्षिणी राज्यों में धन बांटने का कोई बड़ा मामला सामने नहीं आया, जो कि पिछले चुनावों में आम बात थी।

Rohit Mishra

Rohit Mishra